⧭बैठे हैं हम इंतज़ार में, चाहिए तोहफे हमे हज़ार में,
तू भले देर से आना भैया, पर ATM साथ लाना भैया⧬⧬⧬⧬
⧭छम छम करके आई, छम छम करके चली गई.
⧭मैं मंगल सूत्र लेके खड़ा रहा वह राखी बांधकर चली गई
⧭ना तोप से, ना तलवार से
⧭बन्दा डरता हैं तो सिर्फ राखी के त्यौहार से
⧭होली करती तन की सफाई, दिवाली करती धन की सफाई,
और उफ़ ये कम्बखत राखी, कर देती है प्यार की सफाई !
⧭हर लड़की तेरे लिए बेक़रार हैं, हर लड़की को तेरा इंतज़ार हैं,
ये तेरा कोई कमाल नहीं, बस कुछ दिन बाद.. ‘राखी’ का त्यौहार है⧭⧭⧭⧭
⧭वैसे तो है हम बाल ब्रह्मचारी, पर लड़की दिखी तो आँख मारी,
पट गई तो हमारी, वरना, कर लेते है राखी की तैयारी…
⧭खुदा करे तुझे खुशियां हज़ार मिले, मुझसे भी अच्छा यार मिले,
मेरी गर्लफ्रेंड तुझे बंधे राखी, और एक और बहिन का प्यार मिले
तुम पूरी दुनिया को चकमा दे सकते हो, पर अपनी बहन को नहीं। समझे बच्चू 😛
ना पापा की मार से, ना लड़की के इंकार से, ना चप्पलो की बौछार से,
आशिक़ सुधरेंगे तो सिर्फ Raksha Bandhan के त्यौहार से⧬⧬⧬⧬
⧭⧭क्या बताऊ यारो, मेरी किस्मत की कहानी, कुछ इस तरह लिखी गई
जिन हाथो से गुलाब देना चाहता था उन्ही हाथो में वो राखी बांधकर चली गई 😛
⧬⧬हमने पटाई एक लड़की तो सोचा हमारी लॉटरी निकल गयी,
डेट पे बुलाया मिलने को तो, हाय फूटी किस्मत, वो राखी बांध के चली गयी
⧭⧭हर गली फूलों से सजा राखी हैं, हर दरवाजे पे लड़कियां बिठा राखी हैं,
ना जाने किस दरवाजे से आओगे तुम, इसलिए हर लड़की को एक राखी थमा राखी हैं
⧪⧪दो किलो प्याज, एक किलो टमाटर, एक लीटर पेट्रोल और शगुन का एक डॉलर..
तू भले देर से आना भैया, पर ATM साथ लाना भैया⧬⧬⧬⧬
⧭छम छम करके आई, छम छम करके चली गई.
⧭मैं मंगल सूत्र लेके खड़ा रहा वह राखी बांधकर चली गई
⧭ना तोप से, ना तलवार से
⧭बन्दा डरता हैं तो सिर्फ राखी के त्यौहार से
⧭होली करती तन की सफाई, दिवाली करती धन की सफाई,
और उफ़ ये कम्बखत राखी, कर देती है प्यार की सफाई !
⧭हर लड़की तेरे लिए बेक़रार हैं, हर लड़की को तेरा इंतज़ार हैं,
ये तेरा कोई कमाल नहीं, बस कुछ दिन बाद.. ‘राखी’ का त्यौहार है⧭⧭⧭⧭
⧭वैसे तो है हम बाल ब्रह्मचारी, पर लड़की दिखी तो आँख मारी,
पट गई तो हमारी, वरना, कर लेते है राखी की तैयारी…
⧭खुदा करे तुझे खुशियां हज़ार मिले, मुझसे भी अच्छा यार मिले,
मेरी गर्लफ्रेंड तुझे बंधे राखी, और एक और बहिन का प्यार मिले
तुम पूरी दुनिया को चकमा दे सकते हो, पर अपनी बहन को नहीं। समझे बच्चू 😛
ना पापा की मार से, ना लड़की के इंकार से, ना चप्पलो की बौछार से,
आशिक़ सुधरेंगे तो सिर्फ Raksha Bandhan के त्यौहार से⧬⧬⧬⧬
⧭⧭क्या बताऊ यारो, मेरी किस्मत की कहानी, कुछ इस तरह लिखी गई
जिन हाथो से गुलाब देना चाहता था उन्ही हाथो में वो राखी बांधकर चली गई 😛
⧬⧬हमने पटाई एक लड़की तो सोचा हमारी लॉटरी निकल गयी,
डेट पे बुलाया मिलने को तो, हाय फूटी किस्मत, वो राखी बांध के चली गयी
⧭⧭हर गली फूलों से सजा राखी हैं, हर दरवाजे पे लड़कियां बिठा राखी हैं,
ना जाने किस दरवाजे से आओगे तुम, इसलिए हर लड़की को एक राखी थमा राखी हैं
⧪⧪दो किलो प्याज, एक किलो टमाटर, एक लीटर पेट्रोल और शगुन का एक डॉलर..
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