मैं वो मेले में भटकता हुआ एक बच्चा हूँ,
जिसके माँ-बाप को रोते हुए मर जाना है;
एक बेनाम से रिश्ते की तमन्ना लेकर,
इस कबूतर को किसी छत पे उतर जाना है।
जिसके माँ-बाप को रोते हुए मर जाना है;
एक बेनाम से रिश्ते की तमन्ना लेकर,
इस कबूतर को किसी छत पे उतर जाना है।
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